शिवहादुर सिंह (आयु 35, गोंडा, भारत)

जब मैंने परमेश्वर की सामर्थ का वीडियो चलाया, वो बकरी जो सांस नहीं ले रही थी, बच गई।

मैंने इस साल जनवरी की शुरुआत में मोटर साइकिल चलाते हुए सड़क पर एक बकरी को टक्कर मारा था।

बकरी न तो सांस ले रही और न ही उठी, और मालिक ने मुझे बकरी के लिए भुगतान करने का आग्रह किया। भारत में लोग गोमांस से ज्यादा, बकरे का मांस खाते हैं। चूंकि बकरियों को कई पेटू भोजन के लिए उपयोग किया जाता है, एक बकरी एक महीने की मजदूरी के लायक है, और इस तरह मैं परेशान था।

उस समय मेरे मन में ‘परमेश्वर का सामर्थ’ वीडियो याद आया। मेरे दोस्त ने एक बार मुझे एक चर्च की सभा के लिए आमंत्रित किया था, और वहाँ वो वीडियो बहुत प्रभावशाली था। मैंने अपना फोन निकाला और बकरी और उसके मालिक के सामने वीडियो चलाया और, कुछ अद्भुत हुआ।

बकरी सांस लेने लगी और खड़ी हो गई। हाल्लेलुयाह! स्वाभाविक रूप से मैंने बकरी के लिए भुगतान नहीं किया, बकरी बिना किसी समस्या के अपने मालिक के साथ वापस चली गई।

इसके बाद, मैंने प्रभु को स्वीकार कर लिया, और जी सी एन टी. वी. हिंदी चैनल के माध्यम से अपनी पत्नी के साथ मानमिन सेंट्रल चर्च की सभाओं में भाग लेने लगा। मेरी पत्नी को भी एक अद्भुत अनुभव, वो भी 10 साल के शरीर के दर्द से मुक्त गई।

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